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SC ने NEET परीक्षा स्थगित करने से किया इंकार

NEET JEE Main 2020 : (NEET परीक्षा स्थगित करने से किया इंकार)

मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट और इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा जेईई मेन सितंबर में तय शेड्यूल के मुताबिक ही होंगी। सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को नीट और जेईई मेन को स्थगित करने की मांग वाली याचिका खारिज कर दी। शीर्ष अदालत के इस फैसले से दोनों परीक्षाओं का रास्ता साफ हो गया है। याचिका में कोविड-19 संक्रमण के बढ़ते मामलों के चलते सितंबर में प्रस्तावित जेईई मेन और नीट यूजी परीक्षाओं को टालने की मांग की गई थी।

NEET परीक्षा स्थगित करने से किया इंकार

जस्टिस अरुण कुमार मिश्रा, जस्टिस बी आर गवई और जस्टिस कृष्ण मुरारी की खंडपीठ ने यह कहते हुए याचिका खारिज कर दी कि कोरोना के कारण देश में सब कुछ रोका नहीं जा सकता। जस्टिस मिश्रा ने कहा, “क्या देश में सब कुछ रोक दिया जाये? (बच्चों का) एक कीमती साल को यूं ही बर्बाद हो जाने दिया जाये?” खंडपीठ ने कहा कि उसने सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता की दलीलों को रिकॉर्ड में लिया है कि जेईई और नीट परीक्षाएं पर्याप्त सावधानियों के साथ आयोजित की जायेंगी।

जेईई परीक्षा 1 सितंबर से 6 सितंबर तक आयोजित की जाएगी, वहीं नीट परीक्षा 13 सितंबर को आयोजित की जाएगी। बताया जा रहा है कि सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद आज या एक दो दिन में कभी भी जेईई मेन के एडमिट कार्ड जारी हो सकते हैं।

जस्टिस अरुण मिश्रा की अगुवाई वाली बेंच ने कहा कि कोविड-19 के दौर में भी जिंदगी चलती रहेगी। छात्रों का कीमती वर्ष बर्बाद नहीं किया जा सकता। कोर्ट नेशनल टेस्टिंग एजेंसी के फैसले में दखल देकर स्टूडेंट्स का करियर खतरे में नहीं डालना चाहती।

सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के वकील अलख आलोक श्रीवास्त ने कहा कि कोविड-19 की वैक्सीन बन रही है। हम परीक्षा को हमेशा के लिए टालने के लिए नहीं कह रहे हैं। लेकिन कोर्ट को याचिका में कुछ दम नहीं लगा।

बेंच ने कहा, ‘आप लोगों (लॉयर्स) ने फिजिकल कोर्ट खोलने की मांग की है। लेकिन आप चाहते हैं कि परीक्षा स्थगित हो जाए। परीक्षा का स्थगित होना देश का नुकसान है।’

गौरतलब है कि 11 राज्यों के छात्रों ने देश में तेजी से बढ़ रहे कोविड-19 महामारी के मामलों की संख्या के मद्देनजर जेईई मेन और नीट यूजी परीक्षाएं स्थगित करने के अनुरोध के साथ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी। याचिका में कोरोना वायरस महामारी का जिक्र करते हुए राष्ट्रीय परीक्षा एजेन्सी (एनटीए) की तीन जुलाई की नोटिस रद्द करने का अनुरोध किया गया था। इन नोटिस के माध्यम से ही एनटीए ने संयुक्त प्रवेश परीक्षा (जेईई) मुख्य, अप्रैल, 2020 और राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (नीट-यूजी) सितंबर में कराने का निर्णय लिया है। याचिका में प्राधिकारियों को सामान्य स्थिति बहाल होने के बाद ही इन परीक्षाओं को आयोजित करने का निर्देश देने का अनुरोध किया गया था।परीक्षा स्थगित की मांग वाली याचिका खारिज होने के बाद वह याचिका वापस ले ली गई जिसमें दोनों प्रवेश परीक्षाओं को तय शेड्यूल के मुताबिक कराने की मांग की गई थी।

परीक्षा स्थगित की मांग वाली याचिका खारिज होने के बाद वह याचिका वापस ले ली गई जिसमें दोनों प्रवेश परीक्षाओं को तय शेड्यूल के मुताबिक कराने की मांग की गई थी। सुप्रीम कोर्ट में यह याचिका स्टूडेंट्स के अभिभावकों की एक एसोसिएशन ने दायर की थी। इसमें मांग की गई थी कि शीर्ष अदालत नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) को इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा जेईई मेन ( JEE Main 2020 ) और मेडिकल प्रवेश परीक्षा ( NEET 2020 ) सितंबर में तय शेड्यूल पर कराने का निर्देश दे।

गुजरात पेरेंट्स एसोसिएशन की ओर से दायर याचिका में कहा गया कि परीक्षा स्थगित होने पर स्टूडेंट्स को भारी कीमत चुकानी पड़ेगी। एग्जाम डेट आगे बढ़ने से न सिर्फ उन्हें एक अकादमिक वर्ष का नुकसान होगा बल्कि आगे जाकर प्रोफेशनल करियर में भी उन्हें इसका खामियाजा भुगतना पड़ेगा। याचिका में कहा गया है, ‘इन्हीं प्रवेश परीक्षाओं से विद्यार्थियों के करियर की दिशा तय होती है इसलिए ये बेहद महत्वपूर्ण हैं। अगर अब फिर से परीक्षा स्थगित होती है तो इससे विद्यार्थियों में तनाव बढ़ेगा। साथ ही उनके करियर में अनिश्चितता आएगी। इससे उनके अकादमिक प्रदर्शन पर भी बुरा असर पड़ेगा।’

गौरतलब है कि पिछले कुछ समय से जेईई मेन व नीट अभ्यर्थी भी ट्विटर पर लगातार परीक्षा कोविड-19 महामारी के बीच सितंबर में कराने के खिलाफ अभियान चला रहे हैं। वह हैश टैग #postponeNEETandJEE के साथ केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री रमेश पोखिरियाल निशंक ( @DrRPNishank ), एनटीए ( @DG_NTA ) और मानव संसाधन विकास मंत्रालय ( @HRDMinistry ) को टैग करते हुए लगातार ट्वीट कर रहे हैं। उनकी मांग है कि कोविड-19 संक्रमण की आशंका और यात्रा संबंधी दिक्कतों के चलते परीक्षा स्थगित होनी चाहिए।